नई दिल्ली  बिहार के चंपारण निवासी एक माता-पिता अपने बेटे को आइएएस बनना चाहते थे। इसके लिए सिविल सेवा की परीक्षा की तैयारी करने के लिए दिल्ली भेजा। पढ़ाई-लिखाई से लेकर सभी तरह का खर्च उठा रहे थे। लेकिनबेटे ने पढ़ाई की आड़ में ऐसा काम कर दिया कि माता-पिता के पैरों तले जमीन खिसक गई। दरअसलआनलाइन सट्टा हारने के कारण छात्र पर कर्ज हुआ तो उसने स्वजन से ही वसूली की साजिश रच डाली। उसने अपने ही अपहरण का नाटक रचकर स्वजन से 20 लाख रुपये की फिरौती की मांग कर डाली। स्वजन को विश्वास दिलाने के लिए वाट्सएप पर उसने अपने रोने का एक वीडियो भी भेजालेकिन शिकायत जब पुलिस के पास पहुंची तो पूरे नाटक से पर्दा उठ गया।

आठ जनवरी को बिहार के चंपारण के रहने वाले मुहम्मद अजीजुल हक राजेंद्र नगर थाने में अपने बेटे के गायब होने की शिकायत दर्ज कराने पहुंचे। उन्होंने बताया कि उनका 20 वर्षीय बेटा मेहताब हाशमी तीन दिन से लापता है। वह दिल्ली के राजेंद्र नगर स्थित कोचिंग सेंटर में सिविल सेवा परीक्षा की तैयारी कर रहा है और वजीराबाद इलाके में रहता है।

उन्होंने यह भी बताया कि बीते साल सितंबर में उन्होंने पढ़ाई के लिए बेटे को दो बार में पांच लाख रुपये भेजे थे। हालांकिउनके पास बेटे के वजीराबाद स्थित घर और कोचिंग सेंटर का पता नहीं है। उन्होंने पुलिस का बताया कि छह जनवरी को उनकी पत्नी के मोबाइल पर एक रिकार्डिग वाला मैसेज उनके बेटे के मोबाइल से आया। इसमें बताया गया कि मेहताब को अगवा कर लिया गया है और उसे छुड़ाने के लिए 20 लाख रुपये मांगी गई। बातचीत के बाद अपहर्ता 10 लाख रुपये में मेहताब को छोड़ने के लिए तैयार हो गए। उनके पास एक वीडियो क्लिप भी भेजी गई जिसमें उनका बेटा रो रहा था।

इस संबंध में नौ जनवरी को मध्य जिले के राजेंद्र नगर थाने में अपहरण का मामला दर्ज किया गया। पुलिस टीम ने टेक्निकल सर्विलांस की मदद ली तो पता चला कि मेहताब का मोबाइल वजीराबाद इलाके में सक्रिय है। इस पर पुलिस टीम ने छापा मारकर उसे पकड़ लिया।