विजयगढ़ ग्राम में 12 तारीख से प्रारम्भ हुई भागवत जी का आज भंडारे के साथ समापन हो गया जिसमें सीहोर निवासी कथा व्यास राजराजेश्वर शास्त्री जी महाराज के मुखारविंद से संगीतमय कथा सुनकर ग्राम वासी आनन्दित हो गये कथा के अंतिम दिन शास्त्री जी तक्षक नाग द्वारा राजा परीक्षित को डसने की कथा सुनाई और कहा कि विधि का विधान जो एक बार लिखा गया उसको कोई नहीं मिटा सकता यदि ऐसा होता तो भोलेनाथ माता सती को भी बचा सकते थेे साथ ही सुंदर भजन सुनाया कि सजधज के जिस दिन मौत की शहजादी आएगी,
न सोना काम आएगा न चांदी काम आयेगी ।उन्होंने कहा अपने कर्मो के फल और दंड से मानव बच नही सकता अतः धर्म समर्पित कर्म ही कठिन समय मे हमे आत्मबल देगा ।
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