लखनऊ  उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव के 5 करीबियों के ठिकानों पर इनकम टैक्स (IT) के छापों में 200 करोड़ रुपए की गड़बड़ी मिली है। आयकर विभाग ने दावा किया है कि लखनऊ, मैनपुरी, मऊ और बेंगलुरू के अलग-अलग ठिकानों में हुई छापेमारी में जब्त दस्तावेजों के हिसाब में गोलमाल का खुलासा हुआ है। रविवार को IT ने सपा नेताओं से जुड़े 30 ठिकानों पर छापा मारा था। दस्तावेजों में हिसाब की यह गड़बड़ी पिछले सात से आठ सालों में हुई है। हालांकि, आयकर अधिकारियों ने इस संबंध में आधिकारिक तौर पर कोई बयान नहीं दिया है।

सपा से जुड़े जिन लोगों के घरों पर IT ने छापे मारे थे, उनमें पार्टी प्रवक्ता राजीव राय के मऊ और बेंगलुरु, मैनपुरी में RCL ग्रुप के मनोज यादव, अखिलेश यादव के पूर्व OSD जैनेंद्र यादव नीटू, कारोबारी राहुल भसीन और जगत शामिल हैं।

केरल भेजे 80 लाख, खाड़ी देशों से भी कनेक्शन आयकर सूत्रों का कहना है कि एक सपा नेता की बेंगलुरू स्थित फर्म से खाड़ी देशों में 80 लाख रुपए भेजे गए थे। इसमें विदेशी मुद्रा प्रबंधन अधिनियम (FEMA) का उल्लंघन का आरोप है। बताया जा रहा है कि यह फर्म राजीव राय की है। हालांकि, अधिकारी इस पर कुछ भी कहने से बच रहे हैं ।

86 करोड़ रुपए की अघोषित आय पकड़ी गई

छापे की जद में आए कंस्ट्रक्शन कारोबारी के यहां से 86 करोड़ रुपए की अघोषित आय पकड़ी गई है। कारोबारी ने इस पर टैक्स चुकाने की मंजूरी दी है। ये फर्म मनोज यादव की बताई जा रही है, लेकिन आयकर अधिकारियों ने इस पर भी कोई आधिकारिक बयान नहीं दिया है। लखनऊ में एक नेता के यहां से 11 करोड़ रुपए के अघोषित निवेश के कागजात और 3.5 करोड़ रुपए की बेनामी कंपनी के दस्तावेज मिले हैं।

बोगस कंपनियों में किया करोड़ों रुपए का निवेश

आयकर के एक अधिकारी ने बताया कि बोगस कंपनियों में कोलकाता से निवेश कराया गया है। इसमें करोड़ों रुपए के निवेश का मामला सामने आ रहा है। आयकर विभाग के सूत्रों का कहना है कि इसके लिए संबंधित लोगों की तरफ से 5 करोड़ रुपए का कमीशन भी दिया गया है।