जयपुर. पेट्रोल-डीजल (Petro-Diesel) पर केन्द्र सरकार द्वारा एक्साइज ड्यूटी कम करने के बाद आम लोगों को कुछ राहत जरूर मिली हैं. लेकिन राजस्थान (Rajasthan) में दूसरे राज्यों की अपेक्षा अब भी पेट्रोल-डीजल महंगा ही मिल रहा है. राजस्थान के श्रीगंगानगर में पेट्रोल की कीमत अब भी 116 रुपये प्रतिलीटर से ज्यादा है, जो संभवत: देश के किसी भी शहर में सबसे महंगा है. इतना ही नहीं राजधानी जयपुर (Jaipur) में भी 111 रुपये प्रति लीटर से अधिक दाम पर पेट्रोल मिल रहा है. दरअसल केंद्र सरकार द्वारा एक्साइज ड्यूटी कम किए जाने के बाद देश के 22 राज्यों ने तेल के दामों पर वैट कम किया है, जिसके बाद उन राज्यों में पेट्रोल के दामों में और कमी आई हैं, लेकिन 14 राज्य ऐसे भी हैं, जिन्होंने अपना वैट नहीं घटाया, इसमें राजस्थान भी शामिल है.राजस्थान की अशोक गहलोत सरकार पेट्रोल और डीजल पर वैट क्यों कम नहीं कर रही है? ये सवाल विपक्ष के नेता समेत आम जनता भी पूछ रही है. इस सवाल का जवाब जानने की कोशिश करेंगे, लेकिन उससे पहले राजस्थान के मुख्य शहरों में आज पेट्रोल-डीजल के दाम जान लेते हैं. राजधानी जयपुर व अजमेर में शनिवार को पेट्रोल 111.10 रुपये प्रतिलीटर और डीजल 95.7 रुपये प्रतिलीटर है. अलवर में पेट्रोल 111.78 रुपये, बांसवाड़ा में 112.78, बारमेर में 113.72, बीकानेर में 114.1 रुपये प्रतिलीटर की दर पर पेट्रोल मिल रहा है. जबकि गंगानगर में 116.34 और जोधपुर में 110.77, कोटा में 110.5 रुपये प्रतिलीटर की दर से पेट्रोल आज मिल रहा है.

वैट क्यों नहीं घटा रही सरकार?
राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने हाल ही दिल्ली से लौटने के बाद ये संकेत दिए हैं कि राज्य सरकार वैट घटाएगी, लेकिन कब इसपर स्थिति स्पष्ट नहीं है. सीएम गहलोत ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को लिखे अपने पत्र का हवाला देते बताया कि उन्होंने केंद्र से आग्रह किया है आमजन को पूरी तरह से राहत देने के लिए केंद्र सरकार को आगे आना होगा और पेट्रोल-डीजल पर केंद्रीय पूल की अतिरिक्त एक्साइज ड्यूटी और विशेष एक्साइज ड्यूटी को और कम किया जाए, ताकि आमजन को एक्साइज ड्यूटी और वैट में कमी का फायदा एक साथ मिल सके.सीएम गहलोत ने सोशल मीडिया पर पोस्ट साझा कर बताया है कि साथ ही पेट्रोल डीजल पर वैट कम करने से राज्य के राजस्व में 3500 करोड़ रुपए प्रतिवर्ष की अतिरिक्त नुकसान होगा, जिसे जनहित में राज्य सरकार वहन करने के लिए तैयार है. केंद्र सरकार की ओर से साल 2016 से लगातार पेट्रोल-डीजल पर लगने वाली बेसिक एक्साइज ड्यूटी को कम कर राज्यों के साथ साझा किए जाने वाले हिस्से को घटा दिया गया और विशेष एवं अतिरिक्त एक्साइज ड्यूटी जिसका कोई हिस्सा राज्यों को नहीं मिलता, उसे लगातार बढ़ाया गया.

राज्य को हो रहा नुकसान
सीएम अशोक गहलोत ने बताया है कि राजस्थान के कुल राजस्व का 22 प्रतिशत से अधिक पेट्रोल-डीजल के वैट से ही आता है. वैट में कमी के रूप में राजस्थान सरकार 29 जनवरी, 2021 से अब तक लगभग 3 रुपए प्रति लीटर पेट्रोल पर और 3.8 रुपए प्रति लीटर डीजल पर कम कर चुकी है. इससे राज्य के राजस्व में 2800 करोड़ रुपये प्रतिवर्ष की हानि हो रही है.