![](https://pradeshlive.com/wp-content/uploads/2022/07/17-2.jpg)
भोपाल । प्रत्याशियों ने प्रचार में पूरी ताकत झोंक दी है। कम समय में अधिक से अधिक लेागों के बीच पहुंचने के लिए हर संभव प्रयास कर रहे हैं। इन दो दिन के लिए दल के कार्यकर्ता अलग-अलग टोलियां लेकर घर-घर पहुंच रहे हैं। वहीं मतदाता भी एक बार अपनी दहलीज पर प्रत्याशी को वोट मांगते हुए देखने के लिए उत्सुक हैं। कम समय में अधिक दूरी तय करना अब प्रत्याशियों के लिए संभव नहीं हो पा रहा है। जिन जगहों पर प्रचार के लिए प्रत्याशी नहीं पहुंच पा रहे हैं, वहां प्रचार वाहनों को भेजा जा रहा है। इन प्रचार वाहनों पर देशभक्ति पर आधारित फिल्मी तराने गूंज रहे हैं और इनसे मतदाताओं को लुभाकर अपने पक्ष में मतदान की अपील कर रहे हैं। प्रत्याशियों ने गली-गली प्रचार का सबसे अधिक जिम्मा ई-रिक्शा चालकों को दे रखा है। ई-रिक्शा संकरी गलियों में भी पहुंचकर प्रत्याशी के परचे बांट रहे हैं। चार जुलाई की शाम को प्रचार थम जाएगा, जिसके बाद प्रत्याशी चुपचाप बैठकें व घर-घर दस्तक दे सकेंगे।
प्रत्याशी के फोटो व बैनर लगाकर घूम रहे वाहन
इन ई-रिक्शाओं पर संबंधित प्रत्याशी के फोटो व चुनाव चिन्ह के साथ-साथ चार-चार बैनर चस्पा किए गए हैं। शहर में महापौर और पार्षद पद के एक-एक प्रत्याशी के प्रचार के लिए 10 से 20 के करीब ई-रिक्शा घूम रहे हैं। ई-रिक्शा 500 से 700 रुपये में सुबह नौ से रात आठ बजे के बीच में प्रचार कर रहे हैं। ई-रिक्शा पर माइक लगाकर उसमें प्रत्याशी के पक्ष में मतदान करने की अपील कराई जा रही है। साथ ही रिकार्डिंग चलवाई जा रही है, जिसमें गीत संगीत के साथ प्रत्याशी के बारे में बताया जाता है।
समतल क्षेत्र में ही चल रहे ई रिक्शा
ई रिक्शा उन्हीं वार्डों में प्रचार प्रसार कर रहे हैं जो समतल है। पहाड़ी क्षेत्रों में ई रिक्शा के स्थान पर प्रत्याशियों ने छोटा हाथी या आटो का सहारा लिया है। एक छोटा हाथ 1200 से 1500 रुपये में सुबह से शाम तक प्रचार प्रसार पर घूमता है। जबकि यही हाल आटो का चल रहा है। पर इनकी तादात कम हैं। जबकि ई रिक्शा समतल क्षेत्र की छोटी-छोटी गलियों में अपनी पहुंच बनाने में कामयाब हुई हैं।
देशभक्ति गीतों से मतदाताओं को कर रहे आकर्षित
ये जो पब्लिक है सब जानती है, हम लाए हैं तूफान से कश्ती निकाल के, दिल दिया है जान भी देंगे ऐ वतन तेरे लिए…जैसे गाने इन दिनों शहर के गली-मोहल्लों में खूब सुनाई दे रहे हैं। छह जुलाई को होने वाले मतदान के लिए उम्मीदवार देशभक्ति गीतों को तिपहिया, ई-रिक्शा व आटो आदि पर लाउडस्पीकर लगाकर बजवा रहे हैं। सदाबहार पुराने फिल्मी देशभक्ति गानों को कई बार तो मतदाता भी गुनगुनाना शुरू कर देते हैं। नगर निगम चुनाव में उम्मीदवार इन पुराने देशभक्ति फिल्मी गीतों के माध्यम से मतदाताओं को अपनी ओर आकर्षित करने में जुटे हैं। चुनाव प्रचार के अंतिम दौर में इसमें और तेजी आई है। पुराने देशभक्ति गीत आज भी युवाओं के रोंगटे खड़े कर देते हैं। देशभक्ति गीतों से लोगों की भावनात्मक अपील करने में सफल हो जाते हैं। ऐ मेरे वतन के लोगों जरा आंख में भर लो पानी, जो शहीद हुए हैं उनकी जरा याद करो कुर्बानी.. जैसे देश प्रेम की भावना से ओत प्रोत गीत सुनकर लोग आकर्षित होते हैं।
Please do not enter any spam link in the comment box.