रबीन्द्रनाथ टैगोर विश्वविद्यालय में राष्ट्रीय युवा दिवस पर छात्र संवाद का आयोजन जो जागृत होते हैं वो निर्भय होते हैंः श्री पी. नरहरि
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रबीन्द्रनाथ टैगोर विश्वविद्यालय में राष्ट्रीय युवा दिवस पर छात्र संवाद का आयोजन जो जागृत होते हैं वो निर्भय होते हैंः श्री पी. नरहरि

प्रेस विज्ञप्ति
भोपाल। रबीन्द्रनाथ टैगोर विश्वविद्यालय में राष्ट्रीय युवा दिवस के अवसर पर ऑनलाइन छात्र संवाद कार्यक्रम प्रेरणा विमर्श का आयोजन किया गया। यह आयोजन राष्ट्रीय सेवा योजना इकाई, रबीन्द्रनाथ टैगोर विश्वविद्यालय, प्रेस नेटवर्क आॅफ इंडिया और मध्य प्रदेश प्रेस क्लब के संयुक्त तत्वावधान में आयोजित किया गया। विवेकानंद एक महान संप्रेषक विषय पर श्री राधेश्याम जुलानिया, सेवानिवृत्त वरिष्ठ आईएएस, श्री पी नरहरि, आयुक्त उद्योग विभाग एवं डाॅ. राजीव अग्रवाल, मोटिवेशनल स्पीकर ने विद्यार्थियों को संबोधित किया।    

श्री राधेश्याम जुलानिया जी ने स्वामी विवेकानंद जी को महान कम्युनिकेटर बताते हुए विद्यार्थियों को कम्युनिकेशन के टिप्स दिए। जिनमें हर महीने एक अच्छी किताब पढ़ना, प्रतिदिन एक नई शब्दावली सीखना, कम्युनिकेशन के दौरान प्रसंगों और कहानियों को लेना, विचारों में स्पष्टता और प्रस्तुति इस तरह की होनी चाहिये की सभी को बांधे रखें शामिल थे। आपकी वेशभूषा भी ऐसी होनी चाहिये जिससे कि आपका आत्मविश्वास बना रहे। उन्होंने आगे कहा कि स्वाध्याय के बिना किसी भी प्रकार का कम्युनिकेशन अथवा संप्रेषण बहुत प्रभावी नहीं हो सकता। बिना ज्ञान बिना अध्ययन के हम अच्छे कम्युनिकेटर नहीं बन सकते।
 
वहीं श्री पी नरहरि जी ने स्वामी विवेकानंद जी के प्रसंगों का उल्लेख करते हुए कहा कि विद्यार्थियों के विचारों में सृजनात्मकता होनी चाहिये। हमें उद्यमशील होना चाहिये। जिससे कि जीवन में सफलता मिल पाएगी। यह युग कम्युनिकेशन युग है। आज हमारे कथन को डेढ़ सौ-दो सौ साल बाद कोई तभी याद रखेगा जब हम उसका प्रस्तुतिकरण अच्छा करेंगे। विचारों के सृजन के लिये जितना अधिक डिबेट, डिस्कशन करेंगें उतना ही बेहतर विचार निकल कर आएगा। इस कार्यक्रम का उद्देश्य भी यही है। जो जागृत होते हैं वो निर्भय होते हैं।

डाॅ. राजीव अग्रवाल जी ने विद्यार्थियों को संबोधित करते हुए कहा कि स्वामी विवेकानंद जी के जीवन से सीखने की आवश्यकता है। विद्यार्थी को अपने जीवन में अच्छी आदतें बनाने के लिये सतत रुप से प्रयासरत रहना चाहिये। जीवन में सफलता का सूत्र अनुशासन से ही आता है। अगर आपके पास बहुत से आइडिया हैं और आपको उन्हें प्रेजेंट करना नहीं आता, आप में संप्रेषण की कला नहीं है तो आपके साथ ही वो आईडिया समाप्त हो जाएगा। अगर आईडिया है तो आपको संप्रेषण कला आनी चाहिये। इस मौके पर विशेषज्ञों ने संवाद के उपरांत विद्यार्थियों द्वारा किये गए प्रश्नों के जवाब दिये। यह संवाद कार्यक्रम रबीन्द्रनाथ टैगोर विश्वविद्यालय के कुलपति डाॅ. ब्रह्म प्रकाश पेठिया और कुलसचिव डाॅ. विजय सिंह के मार्गदर्शन में आयोजित किया गया।

विश्वविद्यालय से राष्ट्रीय सेवा योजना के कार्यक्रम अधिकारी श्री गब्बर सिंह और अशोका इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी एण्ड मैनेजमेंट वाराणसी उ.प्र. की असिस्टेंट प्रोफेसर सुश्री पल्लवी सिंह ने कार्यक्रम का संचालन किया। वहीं विश्वविद्यालय की कार्यक्रम अधिकारी डाॅ. रेखा गुप्ता ने आभार प्रदर्शित किया। कार्यक्रम के संयोजक मध्य प्रदेश प्रेस क्लब के संयुक्त सचिव श्री अजय प्रताप ने कहा कि प्रेस क्लब अपने मीडिया दायित्वों के साथ इस तरह के रचनात्मक संवाद का भी आयोजन करता है जिससे कि विद्यार्थियों को लाभ मिले। इस मौके पर रबीन्द्रनाथ टैगोर विश्वविद्यालय के उपकुलसचिव श्री समीर चौधरी, विजय प्रताप सिंह, अशोका इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलाजी एण्ड मैनेजमेंट वाराणसी उ.प्र. की निदेशक डाॅ. सारिका श्रीवास्तव विशेष रूप से उपस्थित थीं। इस कार्यक्रम में रबीन्द्रनाथ टैगोर विश्वविद्यालय भोपाल, महात्मा गांधी चित्रकूट ग्रामोदय विश्वविद्यालय, चित्रकूट, बीआईटी कालेज रायपुर, एकेएस सतना, संत हिरदाराम गल्र्स महाविद्यालय भोपाल और अशोका इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी एण्ड मैनेजमेंट वाराणसी उ.प्र. के विद्यार्थी बड़ी संख्या में उपस्थित थे।

जनसंपर्क विभाग



 

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