उज्जैन 12 नवम्बर। अखिल भारतीय कालिदास समारोह के अवसर पर आयोजित राष्ट्रीय कालिदास चित्र एवं मूर्तिकला प्रदर्शनी 2021 के पुरस्कारों की घोषणा की गई है। अकादमी के प्रभारी निदेशक डॉ.सन्तोष पण्ड्या ने यह जानकारी देते हुए बताया कि वर्ष 2021 की प्रदर्शनी के लिए महाकवि कालिदास विरचित ‘अभिज्ञानशाकुंतलम्’ पर केन्द्रित पारम्परिक शैली की कलाकृतियाँ आमंत्रित की गई थीं। प्रदर्शनी में 13 राज्यों (मध्य प्रदेश, केरल, ओडिशा, आंध्रप्रदेश, पश्चिम बंगाल, छत्तीसगढ़, गुजरात, महाराष्ट्र, उत्तर प्रदेश, हरियाणा, दिल्ली, बिहार एवं राजस्थान) के प्रतिभागियों से 249 प्रवेश-पत्रों के माध्यम से कुल 238 चित्र एवं 52 मूर्तियाँ प्राप्त हुई थीं। प्राप्त कलाकृतियों में से निर्णायक मण्डल द्वारा 65 चित्र एवं 16 मूर्तियों का चयन प्रदर्शनी के लिए किया गया।
वर्ष 2021 के चित्रकला पुरस्कार हेतु श्री विप्रचरण मुदुली, पुरी (ओडिशा) की कृति ‘संपूर्ण अभिज्ञानशाकुंतलम्’, श्री सायन चंद्र, उलुबेड़िया जिला हावड़ा (पश्चिम बंगाल) की कृति ‘प्रेम-पत्र’, डॉ.शकुंतला महावर, जयपुर (राजस्थान) की कृति ‘संपूर्ण अभिज्ञानशाकुंतलम्’, श्री देवेंद्र शर्मा जयपुर, (राजस्थान) की कृति ‘प्रियवंदा एवं दुष्यंत संवाद’ का चयन किया गया।
मूर्तिकला 2021 के लिए पुरस्कार श्री बलदेव वाघमारे, बैतूल (मध्यप्रदेश) की कृति ‘बालक भरत’ को प्राप्त हुआ। अखिल भारतीय कालिदास समारोह के समापन अवसर पर अतिथियों द्वारा प्रत्येक पुरस्कृत कलाकारों को रुपये एक लाख का पुरस्कार, प्रमाण-पत्र एवं प्रतीक चिह्न प्रदान कर सम्मानित किया जायेगा।
राष्ट्रीय कालिदास चित्र एवं मूर्तिकला प्रदर्शनी का अवलोकन 15 से 21 नवम्बर तक अकादमी की अभिज्ञानशकुंतलम् एवं रघुवंशम् कलावीथिका में किया जा सकता है। साथ ही उक्त प्रदर्शनी ऑनलाइन भी प्रदर्शित की जाएगी। पुरस्कृत कलाकृतियों के चित्र एवं चयनित कलाकृतियों के कलाकारों की सूची अकादमी की बेवसाइट www.kalidasacademy.com पर अवलोकनार्थ उपलब्ध हैं
Please do not enter any spam link in the comment box.