तालिबानी हुकूमत और उसकी दरिंदगी के खिलाफ काबुल ही नहीं बल्कि दुनियाभर में प्रदर्शन हो रहे हैं। दिल्ली में रह रहे अफगानियों ने भी शुक्रवार को विरोध-प्रदर्शन किया। इसमें काफी संख्या में महिलाएं और बच्चे भी शामिल थे। वे पंजशीर में तालिबान से लड़ने वाले अहमद मसूद का समर्थन और तालिबान-पाकिस्तान का विरोध करते नजर आए। प्रदर्शनकारी हाथो में तख्तियां लिए हुए थे, जिन पर तालिबान मुर्दाबाद, अफगानिस्तान तालिबानियों की जगह नहीं है, हम आजादी चाहते हैं, अफगानिस्तान जख्मी है, पाकिस्तान आतंकियों को शरण देता है और पाकिस्तान पर प्रतिबंध लगें जैसे नारे लिखे थे।
अफगानी महिलाएं पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी ISI के चीफ फैज हामिद की फोटो लेकर प्रदर्शन कर रही थीं, उनका कहना था कि पाकिस्तान एक आतंकी देश है, आतंकियों के लिए सुरक्षित पनाहगाह है। पाकिस्तान अफगानियों की हत्याएं करना बंद करे।
अमरुल्लाह सालेह के भाई का शव नहीं दे रहा तालिबान, कहा- इसे सड़ जाना चाहिए
अफगानिस्तान के पूर्व उपराष्ट्रपति अमरुल्लाह सालेह के बड़े भाई रोहुल्लाह सालेह की हत्या के के बाद तालिबान अब उनका शव नहीं द रहा। रोहुल्लाह के भतीजे इबादुल्ला सालेह ने बताया कि तालिबान ने गुरुवार को उनके चाचा को मार दिया था और जब उनका शव मांगा तो तालिबानियों ने देने से इनकार कर दिया। तालिबान ने कहा कि हम उसे दफनाने नहीं देंगे, उसका शरीर सड़ जाना चाहिए।
काबुल से दिल्ली तक तालिबान के विरोद में प्रदर्सन
शनिवार, सितंबर 11, 2021
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