अभी इस तरह स्कूल चल रहे

  • सिर्फ 50% क्षमता के साथ 9वीं से 12वीं की क्लास लग रही हैं। 11वीं और 12वीं की क्लास सप्ताह में दो दिन है। 9वीं और 10वीं की क्लास सप्ताह में एक दिन।
  • जहां बच्चों के बैठने की समुचित व्यवस्था नहीं है, वहां सप्ताह में एक दिन छोटे-छोटे ग्रुप में क्लास लगाई जा सकती है।
  • बच्चों को स्कूल भेजने के लिए अभिभावकों की अनुमति जरूरी होगी।
  • स्कूल में कोरोना से निपटने के लिए सभी तरह के तरीके जैसे सैनिटाइजर, मास्क और सोशल डिस्टेंसिंग का पालन अनिवार्य होगा।
  • सभी शिक्षकों और कर्मचारियों का 100% वैक्सीनेशन होना अनिवार्य।
  • बच्चे की तबीयत खराब होने पर उसे तत्काल अस्पताल ले जाने के साथ ही अभिभावकों को सूचना देना अनिवार्य है।

स्कूल संचालकों का दबाव काम आया

दो दिन पहले ही प्राइवेट स्कूल संचालक शिक्षा मंत्री से मिले थे। उन्हें भी मंत्री परमार ने जल्द ही स्कूल खोले जाने का आश्वासन दिया था। स्कूल संचालकों ने छोटे बच्चों के लिए स्कूल नहीं खोले जाने पर प्रदर्शन करने की बात कही थी। इन्हीं सब को देखते हुए पिछले दो साल से बंद चल रहे स्कूल सभी बच्चों के लिए खोले जाने की प्लानिंग पर स्कूल शिक्षा विभाग काम शुरू कर दिया था।

दूसरी लहर की तुलना में कम गंभीर

प्रोफेसर मनिंद्र अग्रवाल ने इससे पहले जुलाई में रिपोर्ट जारी की थी। इसमें कहा था कि यदि कोरोना का नया म्यूटेंट आता है, तो तीसरी लहर तेजी से फैल सकती है, लेकिन यह दूसरी लहर की तुलना में आधी होगी। उन्होंने कहा कि जैसे-जैसे वैक्सीनेशन अभियान आगे बढ़ेगा, तीसरी या चौथी लहर की आशंका कम होगी।

यह प्लान तैयार किया गया है

जिला क्राइसिस मैनेजमेंट के साथ स्कूल शिक्षा विभाग के अधिकारी और प्रिंसिपल जिलों में मिलने वाले कोरोना के केस की समीक्षा करेंगे। वर्तमान में चल रही 9वीं से लेकर 12वीं तक की क्लास लगने के दिन बढ़ाए जाएंगे। यह सप्ताह में एक क्लास के लिए तीन दिन तक हो सकते हैं। 6वीं से लेकर 8वीं तक की क्लास सप्ताह में दो दिन लग सकती है। सितंबर के दूसरे सप्ताह में पहली से लेकर 5वीं तक की क्लास शुरू की जा सकती है। यह एक दिन हो सकती है। सोसायटी फॉर प्राइवेट स्कूल डायरेक्टर्स (सोपास) मध्यप्रदेश का प्रदेश प्रतिनिधिमंडल प्रदेश अध्यक्ष डॉ आशीष चटर्जी के नेतृत्व में स्कूल शिक्षा विभाग की प्रमुख सचिव रश्मि अरुण शमी से मंत्रालय में मिला था। इस दौरान सोपास ने कक्षा नर्सरी से लेकर कक्षा 12वीं तक के सभी कक्षाओं को अविलंब प्रारंभ करने का आदेश जारी करने की मांग की थी। इसके साथ ही 5 वर्ष की मान्यता नवीनीकरण के लिए आदेश किया जाए।