कोरोना संक्रमण के दौरान जहां विभिन्न सामाजिक संस्थाओं व संगठनों ने जरूरतमंदों के लिए भोजन व रहने का प्रबंध किया वहीं कुछ संस्थाएं, लोग व संगठन ऐसे है जो केवल अपना नाम व राजनीति चमकाने व विभिन्न विभागों के अधिकारियों के समक्ष पहचान बनाने के लिए सम्मान के नाम पर उन्हें कोरोना योद्वा की उपाधि तक से नवाज रहे हैं। ऐसे लोग अधिकारियों व कर्मचारियों को दिए जा रहे प्रशस्ति पत्रों में अपने नाम के साथ भावी एमएलए तक लिखकर उन्हें प्रभावित करने में कसर नहीं छोड़ रहे तथा अधिकारियों व कर्मचारियों के सम्मान की बजाय अपना ही बखान कर रहे हैं। ऐसा ही नजारा शनिवार को स्थानीय सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में देखने को मिला।
यहां एक व्यक्ति द्वारा खुद के नाम से वितरित किए गए प्रशस्ति पत्रों में खुद को भावी एमएलए तक लिख डाला। प्रशस्ति पत्र वाट्सएप ग्रुपों में वायरल हुआ तो जमकर मजाक हुआ। अपने नाम को भुनाने व पहचान बनाने के लिए अधिकारियों व कर्मचारियों में थोक के भाव प्रशस्ति पत्र बांटे गए। उन्हें काम से कुछ लेना-देना नहीं जो भी कर्मी हो, आओ और कोविड योद्धा रत्न सम्मान ले जाओ। वैसे भी सोशल मीडिया पर जमकर वायरल हो रहा है कि संक्रमण के दौरान योद्धा अधिक हो गए, जबकि मरीज कम। ऐसे में योद्धा रत्न का सम्मान प्रदान करने वाले लोगों की भूमिका पर सवाल उठ रहे हैं कि आखिर केवल और केवल अपना नाम व राजनीति चमकाने के लिए सम्मान का मजाक बनाना कहां तक उचित है।
लोगों का कहना है कि पुरस्कार व सम्मान बांटने का कोई आधार व पैमाना होता है तथा सर्वश्रेष्ठ व बेहतर कार्य करने वालो को ही पुरस्कृत किया जाता है। परंतु अपना नाम चमकाने व पहचान बनाने के लिए सम्मान की बंदरबांट करना न केवल सम्मान का अपमान है बल्कि उन कर्मियों का भी अपमान है जो वास्तव में बेहतर कार्य कर रहे है।
ध्यान रहे कि कई सामाजिक संस्थाओं के सदस्यों ने प्रशासनिक अधिकारियों, स्वास्थ्य अधिकारियों, पुलिस अधिकारी व कर्मचारियों को सम्मानित करते हुए कोरोना योद्धा का सम्मान प्रदान किया। ऐसे कर्मचारियों के सम्मान की किसी को भी परवाह नहीं है। गणमान्य लोगों की माने तो कोरोना संक्रमण के दौरान बेहतर कार्य करने वाले कर्मियों व संस्थाओं को सरकार व प्रशासन द्वारा सम्मानित किया जाना चाहिए तथा विभागीय कमेटी के माध्यम से ऐसे निष्ठावान व बेहतर कार्य करने वाले कर्मियों का चयन करना चाहिए। केवल नाम चमकाने व अपने राजनीतिक इच्छाओं की पूर्ति करने के उद्देश्य से किसी भी व्यक्ति या संस्था द्वारा कोरोना योद्धा सम्मान का मजाक बनाना उचित नहीं है।
Download Dainik Bhaskar App to read Latest Hindi News Today
from Dainik Bhaskar https://ift.tt/2zaTwdp

Please do not enter any spam link in the comment box.