बालाघाट - कलेक्टर डॉ गिरीश कुमार मिश्रा ने आज 25 अगस्त को पशु चिकित्सा विभाग के पशु चिकित्सकों एवं उद्यान विभाग के उद्यान विस्तार अधिकारियों की बैठक लेकर इन विभागों के कार्यों एवं गतिविधियों की समीक्षा की और आवश्यक दिशा निर्देश दिये। बैठक में उप संचालक पशु चिकित्सा सेवायें डॉ पी के अतुलकर, सहायक संचालक उद्यान श्री सी बी देशमुख भी उपस्थित थे।
बैठक में सबसे पहले पशु चिकित्सा विभाग कें कार्यों एवं योजनाओं की समीक्षा की गई। इस दौरान कलेक्टर डॉ मिश्रा ने पशु चिकित्सकों से कहा कि वे अपने मुख्यालय पर रहें और किसानों एवं पशुपालकों को उनकी सेवाओं का लाभ मिलना चाहिए। जिले में कहीं से भी शिकायत नहीं मिलना चाहिए कि पशु चिकित्सक कार्यालय में उपस्थित नहीं रहते है। उन्होंने उप संचालक पशु चिकित्सा सेवायें डॉ पी के अतुलकर के निरीक्षण के दौरान अपने कार्यालय से अनुस्थित पाये गये किरनापुर के डॉ मिनेश मेश्राम, खमरिया-लालबर्रा की डॉ प्रतिभा पड़वार एवं बिरसा के डॉ राजेश शेंडे का दो दिन का वेतन काटने के निर्देश दिये।
पशु चिकित्सा विभाग की योजनाओं की समीक्षा के दौरान बताया गया कि वर्ष 2022-23 में जिले में 03 लाख 43 हजार पशुओं के उपचार का लक्ष्य दिया गया है। इस लक्ष्य के विरूद्ध अब तक 89 हजार 426 पशुओं का उपचार किया गया है। पशुओं के टीकाकरण की समीक्षा के दौरान बताया गया कि जिले में 07 लाख 95 हजार 700 पशुओं को टीका लगाने का लक्ष्य दिया गया है। इस लक्ष्य के विरूद्ध 01 लाख 45 हजार 824 पशुओं का टीकाकरण किया जा चुका है। पशुओं के टीकाकरण में विकासखंड बिरसा, बैहर एवं परसवाड़ा की प्रगति बहुत ही कम होने के कारण कलेक्टर ने इस विकासखंड के पशु चिकित्सकों का वेतन रोकने के निर्देश दिये।
उद्यानिकी विभाग की योजनाओं की समीक्षा के दौरान अधिकारियों को निर्देशित किया गया कि वे उद्यान विभाग की रोपणियों की आय बढ़ाने के लिए प्रयास करें। किसानों को उद्यानिकी के अंतर्गत फलों व सब्जियों की खेती के लिए प्रोत्साहित करें और उन्हें शासन की योजनाओं का लाभ दिलाया जाये। जिले में काजू एवं आम के साथ नारियल की खेती के लिए भी प्रयास किये जायें। इस दौरान बताया गया कि जिले में 10 हेक्टेयर क्षेत्र में आम पौधरोपण का लक्ष्य मिला है। इसी प्रकार 34 हेक्टेयर क्षेत्र में 6347 काजू के पौधे लगाने का लक्ष्य दिया गया है। इस लक्ष्य के विरूद्ध 21 हेक्टेयर क्षेत्र में काजू के पौधे लगाये जा चुके है। प्रधानमंत्री सूक्ष्म खाद्य उद्यम उन्नयन योजना के अंतर्गत जिले में कोदो-कुटकी को प्रोत्साहित करने का लक्ष्य दिया गया है। इसके लिए जिले में 1450 किसानों का पंजीयन किया गया है।
बैठक में वरिष्ठ उद्यान विस्तार अधिकारी श्री हरगोविंद धुवारे ने बताया कि बिरसा विकासखंड के बैगा जनजाति के लोगों को काटवल (ककोड़ा) की खेती से जोड़ा गया है। गत वर्ष की तुलना में इस वर्ष अधिक लोगों ने काटवल (ककोड़ा) के पौधे लगाये है। जिले में काजू के बाद अब नारियल की खेती को भी प्रोत्साहित किया जा रहा है।
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